Connect with us

वाराणसी

उत्तर प्रदेश के राज्य सूचना आयुक्त अजय कुमार उप्रेती ने किया काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के जनसूचना तथा प्रथम अपीलीय अधिकारियों से संवाद

Published

on

सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत आए आवेदनों के विभिन्न व्यवहारिक पक्षों पर अपने विचार किये साझा

वाराणसी: उत्तर प्रदेश के माननीय राज्य सूचना आयुक्त अजय कुमार उप्रेती ने जनसूचना अधिकारियों तथा प्रथम अपीलीय अधिकारियों का आह्वान किया है कि वे सूचना का अधिकार अधिनियम के अंतर्गत सूचना का प्रभावी प्रकटीकरण करें, जिससे जनसाधारण को सशक्त करने के इस कानून के उद्देश्यों की प्राप्ति हो सके। वे काशी हिन्दू विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों के जनसूचना अधिकारियों तथा प्रथम अपीलीय अधिकारियों के साथ संवाद कर रहे थे। सूचना आयुक्त ने कहा कि सूचना का अधिकार अधिनियम का उद्देश्य है कि जनहित के लिए आवश्यक सूचनाओं तक जनता की सुलभ पंहुच हो तथा सरकारी कामकाज में पारदर्शिता बनी रहे। उन्होंने सूचना का अधिकार अधिनियम के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए जन सूचना अधिकारियों को ‘फोर सी’ का फॉर्मूला दिया। उन्होंने कहा कि सूचना मांगने वाले के साथ संवाद, सूचना के अनुरोध के सही रूप में प्रस्तुतिकरण में सहयोग, प्रार्थी के साथ संपर्क साधने तथा सूचना का अधिकार अधिनियम को सही ढंग से समझने की दिशा में प्रयास करने से जनसूचना तथा प्रथम अपीलीय अधिकारी प्रभावी ढंग से अपने कर्तव्य का निर्वहन कर सकते हैं। जनसूचना अधिकारियों को आने वाली व्यवहारिक चुनौतियों के संबंध में सूचना आयुक्त ने अधिनियम के आलोक में समाधान भी सुझाए। उन्होंने कहा कि जनसूचना आधिकारियों को चाहिए कि वे सूचना का अधिकार अधिनियम के सभी प्रावधानों ठीक तरह से समझें और सूचनाओं के संबंध में आए आवेदनों का निस्तारण करें। उन्होंने अधिनियम के प्रभावी क्रियान्वयन के संबंध में माननीय सर्वोच्च न्यायालय तथा विभिन्न उच्च न्यायालयों द्वारा आए अनेक महत्वपूर्ण निर्णयों का भी उल्लेख किया।
कार्यक्रम के दौरान कुलसचिव प्रो. अरुण कुमार सिंह ने सूचना का अधिकार अधिनियम की उत्पत्ति की चर्चा करते हुए बताया कि इस अधिनियम की मंशा है कि जनता को सूचना मिलती रहे। प्रो. सिंह ने कहा सूचना का अधिकार आज आम नागरिक के सशक्तिकरण का एक महत्वपूर्ण माध्यम बन गया है।
अपने अध्यक्षीय उद्बोधन में कुलगुरू प्रो. वी. के. शुक्ला ने कहा कि इस संवाद कार्यक्रम से जनसूचना अधिकारी कई ऐसे व्यवहारिक पक्षों के बारे में अवगत हुए हैं, जिनका वे नियमित रूप से सामना करते हैं। ऐसे में सूचना आयुक्त के साथ चर्चा ने उन्हें कई नए पहलुओं से रूबरू कराया है, जिससे वे आवेदनों के प्रभावी निस्तारण करने में सफल होंगे। कुलगुरू ने सुझाव दिया कि जनसूचना व प्रथम अपीलीय अधिकारियों के लिए नियमित रूप से ऐसे संवाद कार्यक्रमों का आयोजन किया जाना चाहिए, जिससे व्यवस्था का प्रभावी, पारदर्शी व कुशल कामकाज संभव हो सके।
संयुक्त कुलसचिव (प्रशासन-शिक्षण) तथा सूचना का अधिकार अधिनियम, काशी हिन्दू विश्वविद्यालय, के नोडल अधिकारी डॉ. एस. पी. माथुर ने सूचना आयुक्त का परिचय प्रस्तुत किया। संवाद कार्यक्रम में विभिन्न संस्थानों के निदेशक, संकाय प्रमुख, विभागाध्यक्ष, एवं विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों तथा इकाइयों के जन सूचना और प्रथम अपीलीय अधिकारी उपस्थित रहे।

Copyright © 2024 Jaidesh News. Created By Hoodaa

You cannot copy content of this page