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जहरीली शराब कांड : मृतकों की संख्या हुई 21, डीएसपी और एसएचओ निलंबित

अमृतसर। पंजाब के मजीठा विधानसभा क्षेत्र में जहरीली शराब ने कहर बरपा दिया है। नकली शराब पीने से अब तक 21 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि कई की हालत गंभीर बनी हुई है। दस से अधिक लोग विभिन्न अस्पतालों में भर्ती हैं। इस घटना के बाद पूरे इलाके में शोक और आक्रोश का माहौल है।
मुख्यमंत्री भगवंत मान ने मंगलवार को मजीठा का दौरा कर मृतकों के परिजनों को सांत्वना दी। उन्होंने कहा, “ये सिर्फ मौतें नहीं, बल्कि हत्याएं हैं। दोषियों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा।” साथ ही सरकार की ओर से मृतकों के परिजनों को 10 लाख रुपये की सहायता राशि देने की घोषणा की गई है।
पुलिस प्रशासन पर गिरी गाज
पंजाब पुलिस ने इस मामले में त्वरित कार्रवाई करते हुए जहरीली शराब के रैकेट का भंडाफोड़ किया है। रैकेट के सरगना प्रभजीत सिंह समेत कुल 10 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। डीजीपी गौरव यादव ने बताया कि मेथनॉल से मिलाकर यह शराब तैयार की जा रही थी।
जांच में सामने आया है कि मुख्य आरोपी प्रभजीत सिंह के पास से 50 लीटर मेथनॉल बरामद हुआ, जिसे पतला कर दो-दो लीटर के पैकेट में बेचा जा रहा था। इस शराब का सेवन करने वाले अधिकतर लोग दिहाड़ी मजदूर थे।
लापरवाही बरतने के आरोप में डीएसपी अमोलक सिंह और मजीठा थाने के एसएचओ अवतार सिंह को निलंबित कर दिया गया है। दोषियों के खिलाफ विभागीय जांच भी शुरू कर दी गई है।
पटियाला में भी 600 लीटर मेथनॉल जब्त
पटियाला में पुलिस और आबकारी विभाग ने संयुक्त कार्रवाई में 600 लीटर मेथनॉल केमिकल बरामद किया है। इसे दिल्ली से अवैध रूप से पंजाब लाया जा रहा था। पुलिस ने ट्रक (नंबर PB10H1577) को तेपला के पास पकड़ा और तीन ड्रमों में छिपाकर लाया गया मेथनॉल जब्त कर लिया। प्रारंभिक जांच में इसके तार मजीठा की घटना से जुड़े होने की आशंका जताई जा रही है।
‘युद्ध नशियां विरुद्ध’ अभियान में 156 तस्कर गिरफ्तार
इसी बीच, पंजाब में नशे के खिलाफ चल रहे ‘युद्ध नशियां विरुद्ध’ अभियान के तहत मंगलवार को 156 ड्रग तस्करों को दबोचा गया है। पुलिस ने इनके पास से 1.5 किलो हेरोइन, 16 किलो अफीम और 5.38 लाख रुपये की ड्रग मनी बरामद की है। इस अभियान के तहत पिछले 73 दिनों में कुल 10,802 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है।
मुख्यमंत्री भगवंत मान ने राज्य को नशा मुक्त बनाने का संकल्प दोहराते हुए सभी पुलिस अधिकारियों को सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। इसके लिए वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा की अध्यक्षता में पांच सदस्यीय कैबिनेट उपसमिति भी गठित की गई है।