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मऊ

कानून व्यवस्था और अभियोजन शाखा की मासिक समीक्षा बैठक संपन्न

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अवैध अतिक्रमण और लाउडस्पीकर पर कड़ी कार्रवाई के निर्देशकलेक्ट्रेट सभागार में देर शाम कानून व्यवस्था एवं अभियोजन शाखा की मासिक समीक्षा बैठक आयोजित की गई। बैठक में अभियोजन शाखा की समीक्षा के दौरान बताया गया कि जनवरी से मार्च के बीच अधीनस्थ न्यायालयों में कुल 216 मामले निस्तारित हुए, जिनमें से 130 मामलों में सजा और 20 मामलों में रिहाई हुई। अन्य अधिनियमों के अंतर्गत 931 मामलों का निस्तारण हुआ, जिनमें से 927 में सजा और 3 में रिहाई दी गई।

सत्र न्यायालयों में कुल 37 मामले निस्तारित हुए, जबकि एससी/एसटी एक्ट के तहत 35, गैंगस्टर एक्ट के तहत 7 और पॉक्सो एक्ट के अंतर्गत 19 मामलों का निपटारा हुआ।पॉक्सो एक्ट के तहत केवल 19 मामलों के निस्तारण पर नाराजगी जताते हुए जिलाधिकारी ने अभियोजन अधिकारियों को निर्देश दिए कि मजबूत तथ्यों के साथ प्रभावी पैरवी कर अपराधियों को सजा दिलाई जाए।

उन्होंने चेतावनी दी कि किसी भी मामले में लापरवाही मिलने पर संबंधित अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। साथ ही सभी थाना प्रभारियों को निर्देशित किया गया कि केस डायरी और रिपोर्ट समय से अभियोजन पक्ष को उपलब्ध कराएं ताकि सुनवाई की प्रक्रिया मजबूत हो सके।खाद्य सुरक्षा अधिकारी ने बैठक में बताया कि जांच अभियान चलाकर खाद्य सामग्री के नमूने जांच के लिए भेजे जा रहे हैं, लेकिन दोषियों के खिलाफ कोर्ट स्तर पर प्रभावी कार्रवाई नहीं हो रही है।

इस पर जिलाधिकारी ने अभियोजन अधिकारी को उचित कार्यवाही सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।कानून व्यवस्था की समीक्षा में नगर पालिका परिषद और नगर पंचायतों में अवैध अतिक्रमण को चिह्नित कर उसे हटाने के निर्देश दिए गए। साथ ही यह भी सुनिश्चित करने को कहा गया कि सड़क पर अनधिकृत वाहन खड़े न हों।

धार्मिक स्थलों पर लगे अवैध लाउडस्पीकर हटाने और सुप्रीम कोर्ट की ध्वनि सीमा गाइडलाइन का कड़ाई से पालन कराने पर भी जोर दिया गया। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्रों में चुनाव के दौरान छोटी-बड़ी घटनाएं सामने आती हैं, इसलिए सभी थाना प्रभारियों को निर्देशित किया गया है कि ग्राम प्रधानों के साथ बैठक कर संभावित समस्याओं और अराजक तत्वों की सूची तैयार करें।

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मुख्य राजस्व अधिकारी ने सभी उप जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि पंचायत सहायक, रोजगार सेवक और कृषि सहायक जैसे कर्मचारियों के मोबाइल नंबर रखें और समय-समय पर उनसे ग्रामीण समस्याओं की जानकारी लें। साथ ही आपराधिक प्रवृत्ति के लोगों की पहचान कर उनके खिलाफ कदम उठाएं।

गैंगस्टर एक्ट के तहत अपराधियों की संपत्ति चिह्नित कर कुर्की की कार्रवाई करने और सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए विशेष प्रयास करने के निर्देश भी दिए गए।

इसके अलावा अवैध शराब, मादक द्रव्यों के खिलाफ अभियान चलाने और महिला उत्पीड़न व एससी/एसटी एक्ट के अंतर्गत मामलों पर विशेष ध्यान देने के निर्देश भी बैठक में दिए गए।इस अवसर पर पुलिस अधीक्षक, अपर पुलिस अधीक्षक, सभी उप जिलाधिकारी, क्षेत्राधिकारी, थाना प्रभारी और संबंधित विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।

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