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पूर्वांचल

जल ही जीवन है, संरक्षण से मिटेगा संकट : जिलाधिकारी

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रिपोर्ट -‌ अब्दुल वाहिद

भदोही। प्रदेश में अत्यधिक भूजल दोहन के कारण उस पर आसन्न संकट के दृष्टिगत भूजल संसाधनों की सुरक्षा, संरक्षण, प्रबन्धन तथा उसके महत्व के प्रति आमजन मानस को जागरूक करने के उद्देश्य से तहसील औराई सभागार में डीएम विशाल सिंह ने सप्ताह व्यापी भू-जल सप्ताह कार्यक्रम का आयोजन व समापन किया गया।

डीएम ने भूजल संरक्षण के प्रति लोगों को जागरूक करते हुए कहा कि भूजल संसाधनों को संरक्षित रखने के लिए हम सभी एकजुट हो अपनी दिनचर्या में पानी का विवेकपूर्ण संयमित उपयोग करें और भूगर्भ जल के अंधाधुंध दोहन के नियंत्रित करने के साथ-साथ वर्षा जल को संरक्षित करें। हम सभी को समग्र प्रयास करके अधिकाधिक वर्षा जल संचयन करते हुए इस अभियान को सफल बनाना है।

उन्होंने कहा कि ‘‘यह संकल्प निभाना है, हर एक बूंद बचाना है। उपस्थित अधिकारियों एवं जनमानस को भू-जल संरक्षण की शपथ दिलाते हुए ‘‘जन-जन तक जल पहुंचाना है, जल संरक्षण अपनाना है’’ के केन्द्रीय भाव पर कार्य करने हेतु प्रेरित किया। हम सब मिलकर संकल्प लें कि अपनी दिनचर्या में पानी की बर्बादी को रोकेंगे, अंधाधुंध भूगर्भ जल दोहन को नियंत्रित करेंगे तथा भावी जल निधि के रूप में बारिश के पानी का संचित कर भूजल स्रोत को बचायेंगे। सीडीओ

डॉ. शिवाकांत द्विवेदी ने जल की बचत व जल संरक्षण सहित ‘जल ही जीवन है’ पर प्रकाश डालते हुए कहा कि हम सभी को मिलकर जरूरी व्यय होने वाले जल को बचाते हुए, जल संरक्षण हेतु सोकपिट, रूफटॉप रेन वाटर हार्वेस्टिंग, परम्परागत जल केन्द्र/टैंक, वाटरशेड डेवलपमेंट के कार्य, तालाब/पोखर, चेकडैम, नहरों की सफाई, वृक्षारोपण, ड्रिप ऐरिगेशन एवं मिनी स्प्रींकलर आदि तरीकों पर बल दिया। जिससे वर्षा जल का संचयन कर भूॅ-गर्भ जल स्तर बढ़ाया जा सकें।

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उन्होंने बताया कि भू-जल सप्ताह के अन्तर्गत जन-जागरूकता कार्यक्रम आयोजित करने के क्रम में स्कूल कालेजों में छात्र-छात्राओं द्वारा प्रभात फेरी, पद यात्रा, स्लोगन राइटिंग प्रतियोगिता इत्यादि के माध्यम से प्रचार-प्रसार करके जनता जर्नादन में जागरूकता लाई जायेगी। इसी प्रकार ग्राम पंचायतों, विकास खण्ड, तहसील स्तरों पर भी नुक्कड़ नाटक, कठपुतली, मोटरसाइकिल रैली एवं गोष्ठियों, होर्डिग्स, बैनर पोस्टर इत्यादि के माध्यम से जागरूकता जरूरी है। भू-जल सप्ताह दिवस में जागरूकता कार्यक्रम हेतु तिथिवार नोडल अधिकारी बनाये गये है।

एसपी डॉ. मीनाक्षी कात्यायन ने सभी पुलिस कर्मियों को जीवन में जल के महत्व को समझाते हुए जल संरक्षण/संचयन हेतु व्यावहारिक व प्रभावी तरीकों पर बल दिया। लघु सिंचाई सहायक अभियंता ने भू-जल सप्ताह की उपयोगिता व प्रसांगिकता पर बल देते हुए जल संरक्षण के विविध तरीकों को अपनाने पर बल दिया। वाटर लेवल ठीक बना रहे इसके लिए अधिक से अधिक जल संरक्षण/संचयन के कार्य कराया जाना सुनिश्चित किया जाए।

उन्होंने बताया कि भूजल सप्ताह को कैच द रैनः जहॉ भी जब भी सम्भव हो वर्षा के जल को संग्रह करें थीम के साथ प्रारम्भ किया गया है। भूजल सप्ताह को पंचायत स्तर, स्कूल, कालेजों के भवनों व अन्य समस्त शासकीय भवनों पर रूफ टाफ रैन वाटर हार्वेस्टिंग प्रणाली के प्रावधान है।

कार्यक्रम में सीएमओ डॉ.एसके चक, डीएफओ नीरज आर्य, एसडीएम बरखा सिंह, सीओ चमन सिंह छाबड़ा, डीडी कृषि डॉ.अश्वनी कुमार सिंह, बीएसए भूपेन्द्र नारायण सिंह, डीआईओ डॉ.पंकज कुमार, तहसीलदार सुनील कुमार आदि रहें।

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