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वाराणसी

कायाकल्प अवार्ड के लिए एसएसपीजी व डीडीयू चिकित्सालय का हुआ मूल्यांकन

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एनक्वास के तहत जिला महिला चिकित्सालय का हुआ राज्य स्तरीय मूल्यांकन

वाराणसी: कायाकल्प अवार्ड वर्ष 2023-24 के लिए मंगलवार को जनपद के एसएसपीजी मंडलीय और डीडीयू जिला चिकित्सालय का राज्य स्तरीय टीम ने पीयर असेसमेंट (मूल्यांकन) कर गुणवत्ता को बारीकी से परखा। इसके साथ ही 17 से 19 अगस्त तक जिला महिला चिकित्सालय का नेशनल क्वालिटी एश्योरेंस सर्टिफाइड (एनक्वास) का राज्य स्तरीय मूल्यांकन किया गया। राज्य स्तरीय निर्धारित टीम में डॉ पालीवाल, डॉ ज्ञानेंद्र पाण्डेय और डॉ श्रेया सिंह शामिल रहे।
मूल्यांकन के दौरान एसएसपीजी के प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक डॉ एसपी सिंह, डीडीयू के प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक डॉ दिग्विजय सिंह और जिला महिला चिकित्सालय की डॉ मनीषा सिंह सेंगर ने टीम को विस्तार से सभी चिकित्सकीय व स्वास्थ्य सेवाओं के बारे में विस्तार से जानकारी दी। इस दौरान अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ एसएस कनौजिया भी मौजूद रहे। मंडलीय सलाहकार क्वालिटी एश्योरेंस डॉ आरपी सोलंकी की देखरेख में समस्त मूल्यांकन किया गया। डॉ सोलंकी ने बताया कि इसके पूर्व इसी वित्तीय वर्ष में एसएसपीजी व डीडीयू चिकित्सालय का आंतरिक मूल्यांकन किया गया, जिसमें एसएसपीजी ने 92 प्रतिशत और डीडीयू ने 96 प्रतिशत अंक प्राप्त किए। इसके अलावा एनक्वास के तहत जिला महिला चिकित्सालय को पूर्व मे किए गए आंतरिक मूल्यांकन में 82 प्रतिशत अंक मिले। अब 70 फीसदी से अधिक अंक मिलने पर जिला महिला चिकित्सालय का एनक्वास के लिए चयन किया जाएगा। इसके अलावा जल्द ही एसएसपीजी और डीडीयू चिकित्सालय का कायाकल्प अवार्ड के लिए अंतिम (एक्सटर्नल) मूल्यांकन किया जाएगा। 70 फीसदी से अधिक अंक मिलने पर दोनों चिकित्सालय को कायाकल्प अवार्ड से सम्मानित किया जाएगा। विभाग का प्रयास है कि जनपद के सभी सरकारी चिकित्सालयों को बेहतर अंक मिले। उन्होंने बताया कि पिछले वित्तीय वर्ष डीडीयू चिकित्सालय को प्रदेश में कायाकल्प अवार्ड का प्रथम स्थान मिला था।
डॉ सोलंकी ने बताया कि कायाकल्प में आठ मुख्य बिंदुओं जैसे संक्रमण से बचाव, सफाई ,बाहरी व्यवस्था, बायोमेडिकल निस्तारण, मरीजों को सुविधा, सहयोगी संस्थाओं का कोआर्डिनेशन आदि शामिल हैं। यदि इन बिंदुओं पर असेसमेंट का सत्यापन करते हुए पियर में क्वालीफाई हो जाता है तो एक्सटर्नल असेसमेंट किया जाएगा। उसमें यदि इन सभी बिंदुओं पर यह स्वास्थ्य केंद्र अव्वल आ जाता है तब कायाकल्प कार्यक्रम के तहत अवार्ड की घोषणा की जाएगी। कायाकल्प अवार्ड के चयन के लिए 70 फीसद से ऊपर अंक पाने पर तीन लाख, 85 प्रतिशत से ऊपर आने पर पांच लाख और 90 फीसद से ऊपर अंक पाने पर 10 लाख रुपए से अधिक की धनराशि प्रदान की जाती है।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ संदीप चौधरी ने बताया कि कायाकल्प और एनक्वास का उद्देश्य ऐसी सार्वजनिक स्वास्थ्य सुविधाओं को प्रोत्साहित कर उनकी पहचान करना जो कि स्वच्छता और संक्रमण पर नियंत्रण के लिये मानक प्रोटोकॉल का पालन कर अनुकरणीय कार्य करते हैं। इसके साथ ही सार्वजनिक स्वास्थ्य सुविधाओं में स्वच्छता, साफ-सफाई और संक्रमण नियंत्रण को बढ़ावा देना है। सकारात्मक स्वास्थ्य परिणामों से जुड़ी सार्वजनिक स्वास्थ्य सुविधाओं में सुधार से ही बेहतर सुदृढ़ीकरण होता है।

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