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पूर्वांचल

संसद में गूंजी डीडीयू जंक्शन की समस्या, भ्रष्टाचार पर जमकर बोले सांसद वीरेन्द्र सिंह

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चंदौली जिले के समाजवादी पार्टी के लोकसभा सांसद वीरेंद्र सिंह ने सोमवार को लोकसभा में नियम 377 के तहत लोक महत्व के विषय पर पंडित दीनदयाल उपाध्याय नगर मुगलसराय जंक्शन पर व्याप्त समस्याओं के बारे में विस्तार से चर्चा की और वहां की कालोनियों की गंदगी तथा डीआरएम कार्यालय में व्यापक भ्रष्टाचार का मुद्दा भी उठाया।

सांसद वीरेंद्र सिंह ने नियम 377 के तहत मौका मिलने पर पंडित दीनदयाल रेलवे जंक्शन से जुड़ी समस्याओं को उठाते हुए विस्तार से चर्चा की और कहा कि इस पंडित दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन को एशिया का सबसे बड़ा जंक्शन माना जाता है, लेकिन यहां जन सुविधाओं के नाम पर केवल चंद सुविधाएं हैं। जो यहां की भीड़ के हिसाब से पर्याप्त नहीं है। इस स्टेशन पर बुजुर्गों और दिव्यांग यात्रियों के लिए एक प्लेटफार्म से दूसरे प्लेटफार्म पर जाने के लिए ना तो ऑटोमेटिक स्वाचालित सीढ़ी है और न ही यात्रियों के लिए विश्राम करने की समुचित जगह है।

इसके अलावा उन्होंने रेल कर्मचारियों के जर्जर हो चुके आवासों की बदतर हालात को भी सदन में उठाया और कहा कि उनकी कॉलोनी में भारी गंदगी और जल जमाव की स्थिति के कारण वहां नारकीय जीवन जीने को लोग मजबूर हैं। इनकी कॉलोनी में गंदे पानी के निकासी की कोई व्यवस्था नहीं है। सड़कें खराब हैं। गलियां कूड़े से पटी हुई हैं।

डीआरएम कार्यालय में व्याप्त भ्रष्टाचार को लेकर सांसद वीरेंद्र सिंह ने जमकर हल्ला बोला। उन्होंने कहा कि डीआरएम कार्यालय के अधिकारी और कर्मचारी केवल कागजों पर साफ सफाई कराते हैं। यहां पर बिना निर्माण के ही ठेकेदारों का पूरा भुगतान भी कर दिया जाता है। रेलवे सेटलमेंट एरिया एवं डीआरएम ऑफिस कार्यालय में भ्रष्टाचार की विजिलेंस टीम के द्वारा जांच होनी चाहिए, ताकि वहां की व्यवस्थाओं को दुरुस्त किया जा सके।

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