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वाराणसी

श्री बाबा बटुक भैरव का हरियाली श्रृंगार व जल बिहार 27 अगस्त को

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रिपोर्ट – प्रदीप कुमार

  • ‘‘रजत सिंहासन’’ पर होगा महादेव के अद्भुत बाल स्वरूप का दर्शन।
  • फूलों की घाटी की तरह दिखेगा मन्दिर परिसर, फूलों से सजेगा गर्भगृह।
  • मन्दिर में जाने के लिए बनेगा सजीव गुफा रूपी मार्ग।

वाराणसी। श्री बटुक भैरव मन्दिर, कमच्छा में प्रतिवर्ष की भाँति इस वर्ष भी श्री बाबा बटुक भैरव का भव्य हरियाली श्रृंगार तथा जल बिहार की झाँकी का नयनाभिराम दर्शन भक्तगण करेंगे, जिसकी प्रतिक्षा काशी के श्रद्धालुजनों को सदैव रहती है। इस वर्ष ‘‘रजत सिंहासन’’ पर आरूढ़ श्री बाबा बटुक भैरव अपने भक्तों को दर्शन देंगे।

मन्दिर के महंत भास्कर पुरी व राकेश पुरी ने संयुक्त रूप से यह जानकारी देते हुए बताया कि इस वर्ष हरियाली श्रृंगार में बाबा के अद्भुत बाल रूप का दर्शन ‘‘रजत सिंहासन’’ पर होगा। सुबह से ही भक्तों में बाबा के प्रसाद वितरण दर्शन के साथ ही आरम्भ हो जाएगा। कार्यक्रम की समाप्ति तथा दर्शन बन्द होने के पश्चात् बाबा की शयन आरती होगी। उन्होने श्रद्धालुजनों से बाबा का दर्शन कर पुण्य लाभ लेने का अनुरोध किया है।

उन्होने बताया कि हरियाली श्रृंगार तथा जल बिहार के झाँकी की सजावट अति भव्य होगी और मंदिर परिसर को फूलों की घाटी के रूप में सजाया जा रहा है। इस सजावट के क्रम में रथयात्रा से कमच्छा के बीच एवं मुख्य मार्ग से मन्दिर जाने वाली गली में कई भव्य द्वार तथा मन्दिर के अन्दर जाने के लिए भव्य सजीव गुफा रूपी मार्ग का निर्माण होगा। जिससे होकर श्रद्धालु श्री बाबा बटुक भैरव के दरबार में हाजिरी लगाएगें। इस गुफा रूपी मार्ग में जीवन्तता का एहसास होगा और जनमानस को अलौकिक आनन्द प्राप्त होगा। मन्दिर की सजावट कलकत्ता तथा वाराणसी के प्रसिद्ध मालियों द्वारा किया जा रहा है।

बाबा के हरियाली श्रृंगार के शुभ अवसर पर होने वाले कार्यक्रम इस प्रकार हैं –
प्रातः 5.00 बजे – बाबा का पंचामृत स्नान।
प्रातः 6.00 बजे – मंगला आरती।
प्रातः 6.30 बजे – प्रसाद वितरण।
दोपहर 12.00 बजे – भोग, आरती।
रात्रि 8.00 बजे – बाबा की महा आरती, (1008 बत्ती, सवा किलो कपूर द्वारा) इस दौरान 51 भक्तों द्वारा डमरू बजाया जाएगा|

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