वाराणसी
इंजीनियरिंग छात्रा की मौत मामले में आरोपी को हाईकोर्ट से मिली जमानत

वाराणसी। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने वाराणसी में इंजीनियरिंग छात्रा स्नेहा सिंह की संदिग्ध हालात में मौत के मामले में आरोपी सोशल मीडिया फ्रेंड शिवम पांडेय की जमानत मंजूर कर ली है। यह आदेश न्यायमूर्ति आशुतोष श्रीवास्तव की अदालत ने दिया। मामला भेलूपुर थाना क्षेत्र का है।
बिहार के सासाराम निवासी स्नेहा का शव वाराणसी स्थित एक हॉस्टल के कमरे में फंदे से लटका मिला था। पुलिस ने आनन-फानन में हरिश्चंद्र घाट पर अंतिम संस्कार करा दिया था। इस पर सासाराम से पहुंचे परिजनों ने विरोध भी दर्ज कराया था। मृतका के पिता सुनील कुमार कुशवाहा ने हॉस्टल संचालक रामेश्वर पांडेय के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी।
विवेचना के दौरान स्नेहा के सोशल मीडिया फ्रेंड शिवम पांडेय का नाम सामने आया। व्हाट्सऐप चैटिंग के आधार पर पुलिस ने उसे आत्महत्या के लिए उकसाने का आरोपी बनाते हुए पांच जुलाई को जेल भेज दिया था। सत्र अदालत से जमानत अर्जी खारिज होने के बाद याची ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया।
याची के अधिवक्ता ने दलील दी कि आरोपी निर्दोष है और उसके खिलाफ कोई प्रत्यक्ष साक्ष्य नहीं है। उनके अनुसार, स्नेहा और शिवम की कभी मुलाकात नहीं हुई थी, केवल सोशल मीडिया पर बातचीत होती थी। मृतका का शव तौलिए के फंदे से लटका मिला था, जिससे आत्महत्या की संभावना संदिग्ध है।
अधिवक्ता ने यह भी आरोप लगाया कि पुलिस ने नामजद हॉस्टल संचालक को हत्या के आरोप से बचाने के लिए साजिशन याची को फंसाया है। अदालत ने सुप्रीम कोर्ट के फैसलों का हवाला देते हुए कहा कि केवल आरोप या साधारण उत्पीड़न को आत्महत्या के लिए उकसावा नहीं माना जा सकता, जब तक स्पष्ट इरादा और प्रत्यक्ष कृत्य न हो। इसके आधार पर कोर्ट ने शिवम पांडेय की जमानत मंजूर कर ली।