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स्वीपिंग मशीन की खरीदारी पर नगर पालिका पर उठ रहे सवालिया निशान

रिपोर्ट - गणपत राय (ब्यूरो चीफ, चंदौली)
यूपी के चंदौली जिले में स्वीपिंग मशीन की खरीदारी पर नगर पालिका पर सवाल उठ रहे हैं। हाल ही में खरीदी गई नई स्वीपिंग मशीन भी केवल डेढ़ महीने में खराब हो गई। इसके करीब 12 साल पहले भी ऐसी ही मशीन खरीदी गई थी, लेकिन वह कुछ ही दिनों में खराब हो गई थी और पालिका के लाखों रुपए बर्बाद हो गए थे। अब लोगों का सवाल यह है कि पुराने मामले से सबक न लेते हुए, नगर पालिका ने फिर से वही गलती क्यों दोहराई ? क्या मशीन की खरीद में नगर पालिका को व्यक्तिगत रूप से कोई आर्थिक लाभ हुआ है ?
बता दें कि , जीटी रोड की सफाई के लिए नगर पालिका ने 25 लाख रुपए खर्च कर नई स्वीपिंग मशीन मंगवाई थी। जीटी रोड की खस्ता हाल सड़क या स्वीपिंग मशीन की खराब क्वालिटी के कारण, स्वीपिंग मशीन ने सिर्फ डेढ़ महीने में ही काम करना बंद कर दिया। वर्तमान में, यह मशीन नगर पालिका के गैराज में खड़ी है और इसे देख कर लगता है कि इसका भी हाल पुरानी मशीन की तरह हो सकता है।
नगर पालिका क्षेत्र की सफाई व्यवस्था पूरी तरह से बिगड़ गई है। शहर के प्रमुख मार्ग जीटी रोड पर धूल की मोटी परत जमी हुई है। मशीन की बेल्ट खराब होने की वजह बताई जा रही है। लेकिन एक व्यक्ति ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि, मशीन में कई और भी गड़बड़ियां हैं। इस वजह से यह मशीन पालिका के गैराज में पड़ी है। बड़ी सड़कों की सफाई के लिए मंगाई गई यह मशीन जीटी रोड की हालत को सहन नहीं कर पाई और अब यह बेकार पड़ी हुई है।