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अपराध

दरोगा भर्ती परीक्षा में फर्ज़ीवाड़ा के आरोपित को मिली जमानत

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वाराणसी। दरोगा भर्ती परीक्षा में नकली बाल (विग) में इलेक्ट्रानिक्स डिवाइस का अनुचित प्रयोग करने के मामले में आरोपित को जमानत मिल गयी। विशेष न्यायाधीश भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम आलोक कुमार सिंह की अदालत ने चदेरू, चौकठा थाना जिगना, मिर्जापुर निवासी धर्मराज यादव को एक-एक लाख रुपये की दो जमानतें एवं बंधपत्र देने पर रिहा करने का आदेश दिया। अदालत में बचाव पक्ष की ओर से अधिवक्ता अनुज यादव, चंद्रबली पटेल व सौरभ यादव ने पक्ष रखा।

अभियोजन पक्ष के अनुसार नेशनल स्टाक एक्सचेंज इन्फोर्मेशन टेक्नोलॉजी संस्था के चीफ़ प्राक्टर विनोद ठाकुर ने चितईपुर थाने में 17 नवंबर 2021 को प्राथमिकी दर्ज कराई थी। आरोप था कि दरोगा भर्ती की ऑनलाइन परीक्षा कराने के लिए उसकी ड्यूटी धन्नू राम आनलाइन टेस्ट एंड कम्प्यूटर एप्लिकेशन प्रा. लि., धर्मवीर नगर कालोनी पर परीक्षा करा रहा था। इसी दौरान 17 नवंबर 2021 को तृतीय पाली की परीक्षा के दौरान प्रवेश के समय इंट्री गेट पर चेकिंग के दौरान एक परीक्षार्थी रोहित यादव निवासी प्रयागराज सिर के पास मेटल डिटेक्टर ले जानें पर बीप की आवाज आ रही थी। जिसपर चेकिंग की गई तो उसने नकली बाल (विग) के नीचे इलेक्ट्रॉनिक्स डिवाइस लगाकर प्रवेश कर रहे था। जिसके बाद उसे पकड़ लिया गया और पुलिस को सौंप दिया गया। इस मामले में विवेचना के दौरान चदेरू चौकठा जिगना, मिर्जापुर निवासी धर्मराज यादव का नाम प्रकाश में आने पर पुलिस उसे आरोपित बनाया था।

अदालत में बचाव पक्ष की ओर से अधिवक्ताओं ने दलील दी कि अभियुक्त के खिलाफ़ पुलिस ने कोई साक्ष्य प्रस्तुत नहीं किया है। जिससे यह प्रतीत हो कि वह सालवर गैंग का सदस्य है। घटना के डेढ़ माह बाद पुलिस ने उसे मुल्जिम बनाया है। अदालत ने पत्रावली व साक्ष्यों के अवलोकन के बाद जमानत का पर्याप्त आधार पातें हुए जमानत दे दी।

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