वाराणसी
ऑनलाइन जांच में अलग-अलग बूथ पर नाम, परिवारों की बढ़ी चिंता
वाराणसी में विधानसभा मतदाता सूची में गड़बड़ी से कई परिवार परेशान हैं। एक परिवार के माता, पिता और बेटे के नाम अलग-अलग मतदान केंद्रों पर दर्ज पाए गए। परिवार ने मतदाता सूची में सुधार की अपील की है ताकि सभी सदस्य एक ही बूथ पर मतदान कर सकें।
निर्वाचक नामावली का विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) जारी है। चार दिसंबर से पहले मतदाताओं को फार्म भरकर बीएलओ को सौंपना अनिवार्य है। दूसरी ओर, कई मतदाताओं की शिकायत है कि बूथों पर फार्म उपलब्ध नहीं हैं।
उत्तरी विधानसभा क्षेत्र के कादीपुर के एक मतदाता ने बताया कि दस दिनों से बूथों पर फार्म नहीं मिला। ऑनलाइन जांच में पाया गया कि उनके परिवार के सभी सदस्यों के नाम अलग-अलग बूथ पर दर्ज हैं। बीएलओ से संपर्क करने पर फार्म मिला, और जानकारी देने पर चार बीएलओ घर पहुंचकर फार्म लेकर गईं।
ऐसी शिकायतें बड़ी संख्या में सामने आ रही हैं। बेनियाबाग के रोशन ने बताया कि पिछली बार उन्होंने वोट दिया था, लेकिन इस बार बूथ पर बीएलओ फार्म उपलब्ध नहीं करा सकीं, इसलिए उन्हें ऑनलाइन फार्म भरना पड़ा। मतदाता सूची में गड़बड़ी से बीएलओ भी परेशान हैं।
बीएलओ का कहना है कि एक घर में एक सदस्य का फार्म देने पर दूसरे सदस्य का फार्म उनके पास नहीं होता। शहरी क्षेत्रों में यह परेशानी अधिक है, जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में एसआइआर के गणना प्रपत्र तेजी से भरे जा रहे हैं। प्रशासन ने इस कार्य में सफाईकर्मियों से लेकर ग्राम प्रधानों को शामिल किया है। कई ग्राम प्रधान दावा कर रहे हैं कि उनके गांव में शत-प्रतिशत फार्म भर दिए गए हैं।
बीएलओ द्वारा यह भी कहा गया है कि अब मतदाता सीधे फार्म के तीसरे भाग में नाम, पता, मोबाइल नंबर और आधार नंबर भर दें। बाकी विवरण फीडिंग के दौरान सुधार लिए जाएंगे। यदि आधार नंबर न हो तो उसे खाली छोड़ा जा सकता है।
जिलाधिकारी के निर्देश पर सिविल डिफेंस की टीम ने अर्दली बाजार सहित अन्य क्षेत्रों में घर-घर जाकर एसआइआर फार्म वितरित किए और लोगों को फार्म शीघ्र भरकर बीएलओ को उपलब्ध कराने की अपील की। वार्डेन और स्वयंसेवक बूथों पर भी बीएलओ की सहायता में तैनात रहे। अभियान में अंजनी कुमार सिंह, निजामुद्दीन, शरद यादव, श्याम मोहन मिश्रा आदि शामिल रहे।
