राष्ट्रीय
अमित शाह ने उत्तर प्रदेश में तीन नए आपराधिक कानूनों के क्रियान्वयन की समीक्षा की

नई दिल्ली । केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने आज नई दिल्ली में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ बैठक कर राज्य में तीन नए आपराधिक कानूनों के कार्यान्वयन की प्रगति का जायजा लिया। बैठक में गृह मंत्रालय और उत्तर प्रदेश सरकार के वरिष्ठ अधिकारी, केन्द्रीय गृह सचिव, बीपीआरडी और एनसीआरबी के महानिदेशक भी उपस्थित थे।
अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में लाए गए ये नए आपराधिक कानून दंड-केन्द्रित न होकर पीड़ित-केन्द्रित हैं, जिनका उद्देश्य त्वरित और प्रभावी न्याय सुनिश्चित करना है। उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से फरवरी 2025 तक इन कानूनों को पूरी तरह लागू करने की दिशा में प्रगति की समीक्षा करने को कहा।
गृह मंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश जैसे बड़े राज्य में इन कानूनों का शत-प्रतिशत क्रियान्वयन पूरे देश के लिए एक मिसाल बनेगा। उन्होंने उत्तर प्रदेश के सभी सात कमिश्नरेट्स में 31 मार्च तक इन कानूनों का पूरी तरह क्रियान्वयन सुनिश्चित करने पर जोर दिया।
बैठक में उन्होंने तकनीकी समाधान और फॉरेन्सिक सुदृढ़ीकरण को प्राथमिकता देने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने राज्य के प्रत्येक जिले में एक से अधिक फॉरेन्सिक मोबाइल वैन उपलब्ध कराने और फॉरेन्सिक टीमों को गंभीर, सामान्य और अति सामान्य श्रेणियों में विभाजित करने की सलाह दी ताकि गंभीर मामलों को प्राथमिकता देकर संसाधनों और विशेषज्ञता का प्रभावी उपयोग हो सके।
जीरो एफआईआर की प्रक्रिया पर जोर देते हुए अमित शाह ने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाए कि दर्ज की गई एफआईआर का समय पर अन्य राज्यों में स्थानांतरण हो। उन्होंने मुख्यमंत्री से हर 15 दिन में और मुख्य सचिव व पुलिस महानिदेशक से साप्ताहिक प्रगति की समीक्षा करने को कहा।
इस बैठक के माध्यम से उत्तर प्रदेश सरकार ने कानून व्यवस्था को और अधिक मजबूत बनाने की अपनी प्रतिबद्धता को दोहराया। तीन नए आपराधिक कानूनों के प्रभावी क्रियान्वयन से राज्य न्याय और सुरक्षा के क्षेत्र में एक मिसाल कायम करेगा।