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जस्टिस संजीव खन्ना बने भारत के 51वें मुख्य न्यायाधीश, राष्ट्रपति ने दिलायी शपथ

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अनुच्छेद 370 हटाने को सही निर्णय बताया था जस्टिस खन्ना ने

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ न्यायाधीश जस्टिस संजीव खन्ना ने सोमवार को भारत के 51वें मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ ली। राष्ट्रपति भवन में आयोजित सादे समारोह में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने उन्हें शपथ दिलाई। जस्टिस खन्ना की नियुक्ति उनके पूर्ववर्ती जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की सिफारिश पर की गई है। गौरतलब है कि जस्टिस चंद्रचूड़ 10 नवंबर को 65 वर्ष की आयु में सेवानिवृत्त हुए।

जस्टिस खन्ना की पृष्ठभूमि

14 मई 1960 को जन्मे जस्टिस संजीव खन्ना ने दिल्ली विश्वविद्यालय के कैंपस लॉ सेंटर से कानून की पढ़ाई की। जज बनने से पहले वे तीसरी पीढ़ी के वकील रहे हैं। जस्टिस खन्ना ने राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण (NALSA) के कार्यकारी अध्यक्ष के रूप में भी सेवा दी है।

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ऐतिहासिक फैसलों में महत्वपूर्ण भूमिका

जनवरी 2019 में सुप्रीम कोर्ट में जज के रूप में शपथ लेने वाले जस्टिस खन्ना ने कई ऐतिहासिक फैसलों में हिस्सा लिया है। इनमें EVM की पवित्रता बनाए रखने, चुनावी बॉन्ड योजना को चुनौती, अनुच्छेद 370 की समीक्षा और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को अंतरिम जमानत देने से जुड़े फैसले शामिल हैं।

कब तक रहेंगे पद पर ?

सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठता नियम के अनुसार, जस्टिस संजीव खन्ना 11 नवंबर 2024 से 13 मई 2025 तक भारत के मुख्य न्यायाधीश का पद संभालेंगे।

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