गोरखपुर
हत्या प्रयास मामले में एक ही परिवार के तीन सदस्यों को चार साल की जेल
गोरखपुर। उत्तर प्रदेश पुलिस महानिदेशक की ओर से चलाए जा रहे विशेष अभियान “ऑपरेशन कनविक्शन” के परिणाम अब न्यायालय में भी स्पष्ट नज़र आने लगे हैं। इसी कड़ी में, वर्ष 2011 में गोरखपुर के पीपीगंज थाना क्षेत्र में दर्ज एक गैर-इरादतन हत्या प्रयास मामले में अदालत ने महत्वपूर्ण फैसला सुनाते हुए तीन आरोपियों को कड़ी सजा सुनाई है।
पीपीगंज थाने में मु.अ.सं. 154/2011 के अंतर्गत धारा 323, 308 (गैर-इरादतन हत्या का प्रयास), 504, 506, 336 भादवि में मुकदमा दर्ज किया गया था। आरोप वार्ड संख्या 08, पीपीगंज निवासी सुरेश प्रसाद, उनकी पत्नी शकुन्तला देवी एवं पुत्र विक्की पर सिद्ध हुए।
माननीय एडिशनल सेशन जज/PC-5, गोरखपुर की अदालत ने तीनों अभियुक्तों को दोषी करार देते हुए चार वर्ष का सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही, प्रत्येक आरोपी पर 7,200 रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। न्यायालय ने टिप्पणी की कि दोषियों का कृत्य अत्यंत गंभीर था, जिसने न सिर्फ पीड़ित के जीवन को खतरे में डाला बल्कि समाज में कानून-व्यवस्था को भी प्रभावित किया।
लंबे समय से लंबित यह केस वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, गोरखपुर की देखरेख में तथा पुलिस अधीक्षक उत्तरी और मॉनिटरिंग सेल की सतत निगरानी के चलते तेजी से आगे बढ़ाया गया। मज़बूत सबूतों और अभियोजन पक्ष की प्रभावी दलीलों, विशेषकर एडिशनल डिस्ट्रिक्ट गवर्नमेंट काउंसिल (ADGC) श्री अजीत प्रताप शाही की भूमिका ने इस दोषसिद्धि को सुनिश्चित किया।
जिला पुलिस प्रशासन के अनुसार, “ऑपरेशन कनविक्शन” का उद्देश्य गंभीर और पुराने मामलों में त्वरित न्याय दिलाना है, जिससे अपराधियों में कानून का भय स्थापित किया जा सके।
