गाजीपुर
जनप्रतिनिधियों से संवादहीनता पर भड़की समिति, अधिकारियों को हिदायत

गाजीपुर/वाराणसी। उत्तर प्रदेश विधान परिषद की विशेषाधिकार समिति का अध्ययन भ्रमण सत्र सर्किट हाउस सभागार, वाराणसी में सम्पन्न हुआ। बैठक की अध्यक्षता सभापति डॉ. जयपाल सिंह ‘व्यस्त’ ने की। बैठक में समिति द्वारा वाराणसी मंडल के अधिकारियों से 17 विभिन्न प्रश्नों पर जानकारी ली गई और विभागवार विस्तृत समीक्षा कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए।
समिति ने पीडब्ल्यूडी, विद्युत, आबकारी, समाज कल्याण, दिव्यांगजन कल्याण, स्वास्थ्य विभाग सहित अन्य विभागों से सूचनाएं मांगीं। अधिकारियों को निर्देशित किया गया कि वे माननीय जनप्रतिनिधियों के पत्रों का शासन को उत्तर समयबद्ध दें, उनके मोबाइल नंबर सेव रखें तथा योजनाओं के लाभार्थियों से जुड़ी जानकारी तत्काल उपलब्ध कराएं।
बैठक में विद्युत विभाग से आरएसएस, रिवैंप योजना, विद्युतीकरण लक्ष्य, किसानों को सिंचाई हेतु नलकूप कनेक्शन उपलब्धता, आबकारी राजस्व, लाइसेंस शुल्क वसूली, नहरों की सिल्ट सफाई और उनकी प्रगति रिपोर्ट प्रस्तुत करने को कहा गया। लोक निर्माण विभाग को शेष सभी मार्गों को एक माह में गड्ढामुक्त करने के निर्देश दिए गए। आबकारी विभाग को बकाया वसूली तेज करने और अवैध शराब बिक्री पर सख्त कार्रवाई जारी रखने को कहा गया।
पुलिस विभाग से मंडल के सभी जनपदों की कानून व्यवस्था की समीक्षा हुई। सिंचाई विभाग से संचालित योजनाओं, नहरों की सफाई और सत्यापन रिपोर्ट समिति को देने को कहा गया। जनपद के बाल संरक्षण गृह और महिला सुधार गृहों की पिछले दो वर्षों की स्थिति की भी समीक्षा की गई।
सभी अधिकारियों को निर्देशित किया गया कि जनप्रतिनिधियों के फोन कॉल अनिवार्य रूप से उठाएं और उनसे सतत संवाद बनाए रखें। समिति ने कहा कि संवादहीनता से ही विशेषाधिकार हनन की स्थिति उत्पन्न होती है। बैठक में जिलाधिकारी गाजीपुर अविनाश कुमार ने धन्यवाद ज्ञापित करते हुए आश्वस्त किया कि समिति के दिशा-निर्देशों का शत-प्रतिशत पालन सुनिश्चित किया जाएगा।
इस अवसर पर समिति के सदस्य विधान परिषद सदस्य रामतीर्थ सिंघल, रमा निरंजन, आशुतोष सिन्हा, पूर्व सदस्य चेतनारायण सिंह, प्रमुख सचिव डॉ. राजेश सिंह, समिति अधिकारी विकास अग्रवाल, अनुभाग अधिकारी संजय कुमार तथा वाराणसी, जौनपुर, चंदौली के जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक एवं अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।