चन्दौली
सात दिवसीय रामकथा का भव्य समापन

ताराजीवनपुर (चंदौली)। अलीनगर थाना क्षेत्र स्थित सहरोई गांव में विगत वर्षों की भांति इस वर्ष भी श्री हनुमान जयंती के पावन शुभ अवसर पर नवयुवक मंगल दल सहरोई के तत्वाधान में सात दिवसीय संगीतमय रामकथा का आयोजन किया गया।
कथा के अंतिम दिन पंडित शक्ति तिवारी ने बताया कि नारायण की कृपा कब किस पर बरस जाए, यह कोई नहीं जान पाता। जिस प्रकार प्रभु श्रीराम की कृपा हनुमान जी, सुग्रीव जी और विभीषण जी पर हुई। निष्कलंक भाव से युक्त जीवन यापन करने वालों पर कब प्रभु की कृपा हो जाए, यह तो वही जान सकते हैं।
चंचल चित्त जीव सुग्रीव पर रघुनाथ जी की कृपा हुई, विभीषण जी को पूरा राजपाट दे दिया गया और अपने परम शिष्य हनुमान जी पर प्रभु ने अपनी कृपा बरसाकर उन्हें अमरता का वरदान दिया तथा अष्ट सिद्धियां प्रदान कीं।
शक्ति तिवारी ने बताया कि यदि जीवन जीना सीखना है तो रामचरितमानस का चरण, शरण और ग्रहण करना चाहिए। रामचरितमानस हमें जीना सिखाती है — भाई-भाई के प्रति प्रेम कैसा होना चाहिए, माता-पिता के प्रति प्रेम कैसा होना चाहिए, पिता और पुत्र के प्रति प्रेम कैसा होना चाहिए — यह सब मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीरामचंद्र जी के जीवन से सीखा जा सकता है।
उन्होंने कहा कि मनुष्य का शरीर साधना का धाम है, मोक्ष का द्वार है, और इस सांसारिक भवकूप से बाहर निकालने के लिए केवल और केवल एक नाम — ओम, राम या शिव — में से किसी एक का जाप करें। इसी में हम सबका कल्याण है।
उन्होंने यह भी बताया कि भगवान ज्ञान से मिले या न मिले, वैराग्य से मिले या न मिले, लेकिन प्रेम से अवश्य मिल जाते हैं। वहीं कथा के अंतिम दिन विशाल भंडारे का आयोजन हुआ, जिसमें प्रसाद वितरण किया गया। इस अवसर पर हजारों नर-नारी, बुजुर्ग, जवान और बच्चे शामिल रहे।
इस दौरान समाजसेवी राहुल मिश्रा, अमित मिश्रा, रोहित, पवन, शिशु, विराट, उमेश, महानंद, दिनेश, शुभम, गोलू, तबला वादक अनिल तिवारी, निक्की रशिक, प्रद्युम्न सहित सैकड़ों श्रद्धालु उपस्थित रहे।