गाजीपुर
एसडीएम की दबिश में गेहूं तस्करी का भंडाफोड़, बिहार भेजी जा रही 30 टन खेप जब्त

बगैर दस्तावेज के ले जाया जा रहा था गेहूं, मंडी शुल्क चोरी और समर्थन मूल्य से अधिक पर बेचने की थी तैयारी
भांवरकोल (गाजीपुर)। पूर्वांचल एक्सप्रेसवे के एग्जिट प्वाइंट के पास शुक्रवार को उपजिलाधिकारी डॉ. हर्षिता तिवारी ने बड़ी कार्रवाई करते हुए एक डीसीएम वाहन से बिहार भेजे जा रहे 30 टन (300 क्विंटल) अवैध गेहूं की खेप को जब्त किया।
जांच के दौरान वाहन चालक के पास कोई वैध दस्तावेज नहीं पाए गए। पूछताछ में चालक संतोषजनक जवाब नहीं दे सका। प्राथमिक जांच में सामने आया कि यह गेहूं बिहार ले जाकर ऊंचे दामों पर बेचा जाना था।
बता दें कि उत्तर प्रदेश में गेहूं का न्यूनतम समर्थन मूल्य लगभग 2425 रुपये प्रति क्विंटल है, जबकि तस्कर इसे बिहार, पश्चिम बंगाल और नेपाल में 3000 से 4000 प्रति क्विंटल तक बेचते हैं। इससे न केवल किसानों को नुकसान होता है, बल्कि मंडी शुल्क की भी चोरी होती है।
उपजिलाधिकारी डॉ. हर्षिता तिवारी ने बताया कि जब्त गेहूं की कुल मात्रा 30 टन है और आवश्यक विधिक कार्रवाई की जा रही है। इस संबंध में जिलाधिकारी अविनाश कुमार पहले ही गेहूं तस्करी को लेकर सख्त निर्देश जारी कर चुके हैं। उन्होंने स्पष्ट किया है कि निर्धारित लक्ष्य के अनुरूप गेहूं की खरीद सुनिश्चित की जाए। फिलहाल, खाद्य विभाग द्वारा केवल 20.67% और मंडी समिति द्वारा 21.38% गेहूं की खरीद ही हो सकी है।
प्रशासन ने संकेत दिए हैं कि आगे भी इस तरह की तस्करी पर कड़ी निगरानी रखी जाएगी और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।