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पूर्वांचल

आपदा रणनीतियों से खतरे होंगे कम, सीतामढ़ी घाट पर संपन्न हुआ फ्लड मॉक

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रिपोर्ट -‌ अब्दुल वाहिद

भदोही। वर्ल्ड ड्राउनिंग प्रिवेन्शन दिवस पर बाढ़ आपदा से बचाव व सुरक्षा हेतु राज्य स्तरीय फ्लड मॉक एक्सरसाईज का आयोजन अध्यक्ष जिला आपदा प्रबन्धन जिलाधिकारी विशाल सिंह की उपस्थिति में सीतामढ़ी घाट पर सम्पन्न हुआ। इस बाबत ग्रामीणों व क्षेत्रवासियों ने उपस्थिति दर्ज कराकर को बाढ़ से बचाव से जागरूक हुए।

जिलाधिकारी विशाल सिंह ने कहा कि आपदाओं में सूझबूझ वाली रणनीतियों से खतरे कम होंगे। इस तरह के आयोजन डूबने के कारण खोई जिन्दगियों को याद करने के साथ ही जल व उसके आप.पास सुरक्षा को बढ़ावा देने के उददेश्य से किया जाता है। डूबने से होने वाली मानवीयए सामाजिक तथा आर्थिक क्षति असहनीय है लेकिन इसे पूरी तरह से रोका जा सकता है। डूबने की घटनाओं की रोकथाम के लिए साक्ष्य आधारित किफायती रणनीतियों को लागू करके डूबने के खतरे को काफी कम किया जा सकता है।

मॉक रिहर्सल के दौरान दर्शकों को सुरक्षित बचाव व पुर्नाजीवन तकनीतियों की जानकारी देना जैसे सीपीआर व मूंह से सांस लेने का प्रशिक्षण दिया गया। नाविकोए गोताखोरो के कार्यो की सराहना करते हुए उन्हें जल जीवन रक्ष मित्र के रूप में उनकी प्रसंशा कर उत्साह बढ़ाया कि आप लोग एक सजग जल प्रहरी के रूप में स्थानीय स्तर पर 24 घण्टे उपलब्ध रहकर डूबते व बाढ़ में फसे व्यक्तियों की जान को बचाते है जो नैतिक व पूर्ण्य कर्म है।

एडीएम कुंवर वीरेंद्र मौर्य ने मॉक एक्सरसाईज के दौरान सर्च एवं रेस्क्यू अन्तर्गत सीतामढ़ी क्षेत्र से बाढ़ में फंसे लोगों को बाहर निकालने में लाईफ रिंग, लाईफ जैकेट पहने बचाव दल की कार्यवाही एवं डूबते हुए व्यक्तियों को बचाने की कार्यवाही की गई। मेडिकल कैम्प के मैनेजमेंट के तहत बाढ़ में फसे लोगों को सुरक्षित निकाल कर स्ट्रेचर से चिकित्सीय उपाचार को लाया गया जहां प्राथमिक उपचार के बाद जीवन बचाने में स्वास्थ्य कर्मियों की मेहनत सुर्खियों में रही।

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एएसपी तेजवीर सिंह ने बताया कि बाढ़ आपदा से बचाव व सुरक्षा में पुलिस प्रशासन सर्च एवं रेस्क्यूए क्राउड मैनेजमेंट जल पुलिस आदि के समन्वय, सहयोग का अभ्यास जनहित में है। सीएमओ डाक्टर एसके चक ने डूबने की घटनाओं की रोकथाम की घटनाओं को गौर करते हुए एक अपातकालीन जीवन सहायता प्रदाता टीम और कीट तैयार कराया। डूब रहे व्यक्तियों को बाहर निकालकर सुरक्षित बचाव व पुर्नजीवन देने में तत्काल सीपीआर या मूंह से सांस देना समझदारी होती है।

खाद्य एवं रसद विभाग के स्टॉल पर जिला पूर्ति अधिकारी सुनील द्वारा दर्शाया गया कि बाढ़ आपदाओं के समय प्रभावित लोगों को आधारभूत खाद्य समाग्री, जरूरी वस्तुएं जैसे मोमबत्ती, माचिस, ब्रेड, नमक, लाई, चना, गुड़ आदि निःशुल्क प्रदान किया जाता है। आपदा विशेषज्ञ अंकित सिंह ने बाढ़ मॉक एक्सरसाईज के अन्तर्गत डूबने की घटना के दौरान राहत बचाव में मुख्य रूप से फस्ट एड एवं सीपीआर को दर्शकों के समक्ष उकेर कर उपयोगिताओं से रूबरू कराया गया। बाढ़ राहत शिविर में उनकों पहुंचा कर आधारभूत सुविधा प्रदान कर खाद्य एवं रसद विभाग की खाद्य एवं आवश्यक सामग्रियों की किट प्रदान की गई।

मॉक एक्सरसाईज के समय एसडीएम सदर अरूण गिरि, क्षेत्राधिकारी प्रभात राय, डीपीआरओ संजय मिश्रा, डीडीओ ज्ञानप्रकाश, डीडी कृषि अश्वनी सिंह, डीआईओ पंकज कुमार, तहसीलदार अजय सिंह, संजय कुमारए सुनील कुमार, एक्शईन मुजीब अहमद, सुधीर पाल, गुलाब मौर्य, दिलीप कुमार, आरपी यादव, धर्मेंद्र सिंह, मनोज समेत 22 विभागों के अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित रहे।

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