वाराणसी
फोर्टीफाइड राईस पर चावल मिलर्स हेतु संभाग स्तर पर पुनःश्चर्या प्रशिक्षण कार्यशाला का हुआ आयोजन
कुपोषण से लड़ने के लिए भारत में चावल का फोर्टीफीकेशन अत्यंत जरूरी है-मयंक भूषण
भारत में 65 प्रतिशत आबादी रोज चावल का सेवन करती है
वाराणसी। आयुक्त कार्यालय परिसर स्थित आडिटोरियम में मंगलवार को फोर्टीफाइड राईस पर चावल मिलर्स हेतु संभाग स्तर पर पुनःश्चर्या प्रशिक्षण/ कार्यशाला का आयोजन किया गया। उक्त प्रशिक्षण कार्यशाला की अध्यक्षता प्रदीप कुमार कुशवाहा, सम्भागीय खाद्य विपणन अधिकारी, वाराणसी सम्भाग ने किया गया। जिसमें समस्त जिला खाद्य विपणन अधिकारी, क्रय एजेन्सियों के मण्डल एवं जनपद स्तरीय अधिकारी अधिकांश क्षेत्रीय विपणन अधिकारी/विपणन निरीक्षक, सम्भाग के प्रमुख चावल मिल संचालक एवं आर०आर० के० निर्माता द्वारा प्रतिभाग किया गया।
प्रशिक्षण कार्यक्रम में विश्व खाद्य कार्यक्रम के प्रतिनिधि मयंक भूषण द्वारा राईस फोर्टीफिकेशन तथा चावल मिलों में डायनेमिक ब्लेंडर लगाए जाने तथा फोर्टीफाइड राईस के निर्माण के संबंध में विस्तार से प्रशिक्षण दिया गया। साथ ही यह भी अवगत कराया गया कि भारत सरकार द्वारा आगामी धान खरीद 2023-24 के अन्तर्गत जिन राईस मिलों में बी०आई०एस० मानक का डायनमिक ब्लेंडर लगवाना अनिवार्य है। अन्यथा की स्थिति में फोर्टीफाइड राईस निर्माण के कार्य से बाहर हो जायेगी। फोर्टीफाइड राईस के उपभोग हेतु भ्रांतियों को दूर करने हेतु इसकी जन-मानस के मध्य व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाए। कुपोषण से लड़ने के लिए भारत में चावल का फोर्टीफीकेशन अत्यंत जरूरी है। भारत में 65 प्रतिशत आबादी रोज चावल का सेवन करती है। खाद्य सुरक्षा कार्यक्रमों में चावल का वितरण भी बहुत ज्यादा मात्रा में होता है। फोर्टीफीकेशन का मतलब टेक्नोलाजी के माध्यम से खाने मेंविटामीन और मिनरल के स्तर को बढ़ाना है। ताकि आहार में पोषण तत्वों की कमी को दूर किया जा सके और इससे लोगों के स्वास्थ्य को लाभ मिले। चावल को एफ०आर० के० के साथ 100: 1 के अनुपात में मिलाकर फोर्टीफाइड चावल तैयार किया जाता है। इसमें आयरन, जिंक, फोलिक एसिड और विटामिन बी 12 का मिश्रण होता है, जिसके कारण यह स्वस्थ भारत और कुप्रेषण रहित भारत की आत्मनिर्भर भारत के सपने को साकार कर सकता है। विटामिन बी 12 फोलिक एसिड और आयरन जैसे सूक्ष्म तत्वों से आधी आबादी को कुपोषण से मुक्त करने का प्रभावशाली प्रयास है। फोर्टीफाइड राईस का वितरण उचित दर दुकानों एन०एस०एस०ए० आई०सी०डी०एस०, मिड डे मील व अन्य योजना में किया जाता है। फोर्टीफाइड चावल का निर्माण:- चावल का फोर्टीफाइड करने के लिए सबसे पहले सामान्य चावल का पाउडर बनाया जाता है और उसमें सूक्ष्म पोषक तत्व जैसे विटामीन बी 12, फोलिक एसिड और आयन एफ0एफ0एफ0एस०आई० के मानकों के अनुसार मिलाए जाते है। एक्सट्रेडर नामक मशीन से चावल के दानों या एफ०आर० के० के एक दाने को सामान्य चावल के 100 दानों के अनुपात में मिलाया जाता है, जिसे फोर्टीफाइड राईस कहते है। डायनेमिक ब्लेंडर के द्वारा सामान्य चावल एवं एफ०आर० के० को मिश्रित कर फोर्टीफाइड चावल राईस मिलों द्वारा तैयार किया जाएगा। फोर्टीफाइड चावल को साफ, ठंडी, सूखे स्थान में संग्रहण करें।
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