वाराणसी
सिंदूर खेलकर महिलाओं ने मां दुर्गा को दी भावुक विदाई

शिवपुर। नवरात्र समापन पर शुक्रवार की सुबह शिवपुर के मिनी स्टेडियम स्थित श्री श्री दुर्गा पूजा समिति के पंडाल में माता दुर्गा की विदाई का आयोजन श्रद्धा और उल्लास के साथ संपन्न हुआ। प्रातःकाल से ही श्रद्धालुओं की भीड़ पंडाल में उमड़ पड़ी। खासकर सुहागिन महिलाएं बड़ी संख्या में पहुंचीं और पारंपरिक रीति से माता को सिंदूर अर्पित कर अखंड सौभाग्य का आशीर्वाद मांगा।
सुहागिनों ने पहले माता की प्रतिमा पर सिंदूर चढ़ाया और फिर आपस में सिंदूर खेला करते हुए एक-दूसरे को दीर्घ सुहाग का आशीर्वाद दिया। विदाई के इस भावुक क्षण में महिलाओं ने मां से अगले वर्ष पुनः पधारने का संकल्प लिया।
श्रद्धालु रीना श्रीवास्तव ने कहा कि मां दुर्गा को बेटी की तरह विदा किया जाता है। जिस प्रकार बेटी मायके से विदा होती है, उसी प्रकार मां को विदाई दी जाती है। यह दिन हर सुहागिन के लिए बेहद खास होता है।धार्मिक मान्यताओं के अनुसार नवरात्र के नौ दिन मां दुर्गा ससुराल से मायके आती हैं और दशमी के दिन लौट जाती हैं।
इसी वजह से उन्हें बेटी की तरह विदा किया जाता है। विदाई के क्षण इतने भावुक थे कि कई श्रद्धालुओं की आंखें नम हो गईं। एक ओर मां के जाने का दुख था तो दूसरी ओर अगले वर्ष उनके पुनः आने की खुशी लोगों के चेहरों पर झलक रही थी।
पूरे विधि-विधान से अंतिम पूजा और आरती के बाद माता की प्रतिमा को भव्य शोभायात्रा के रूप में शिवपुर में निकाला गया। ढोल-नगाड़ों और जयकारों के बीच प्रतिमा को तालाब तक ले जाकर विधिवत विसर्जन किया गया।
शोभायात्रा में समिति के पदाधिकारी और सदस्य बड़ी संख्या में शामिल हुए। महिला-पुरुष और बच्चे इस भावुक पल के साक्षी बने।श्रद्धा, भक्ति और भावनाओं के इस अद्भुत संगम ने पूरे आयोजन को अविस्मरणीय बना दिया। जयकारों के बीच माता दुर्गा की प्रतिमा के विसर्जन के साथ नवरात्र उत्सव संपन्न हुआ और भक्तों ने अगले वर्ष उनके पुनः आगमन की कामना करते हुए विदाई दी।