वाराणसी
क्यूआर कोड वाले आईडी कार्ड के बिना स्टेशन और ट्रेनों में सामान नहीं बेच पाएंगे वेंडर

वाराणसी। बनारस रेलवे स्टेशन पर अब बिना क्यूआर कोड वाले पहचान पत्र के कोई भी वेंडर स्टेशन परिसर और ट्रेनों में सामान नहीं बेच सकेगा। भारतीय रेलवे में इस व्यवस्था की शुरुआत सबसे पहले बनारस रेलवे स्टेशन से की गई है। इस कदम से नकली वेंडरों में हड़कंप मच गया है। रेलवे बोर्ड ने खानपान की गुणवत्ता पर निगरानी और अवैध वेंडिंग पर रोक लगाने के उद्देश्य से यह निर्णय लिया है।
हाल ही में निरीक्षण के दौरान पाया गया कि कई वेंडर बिना आईडी कार्ड और तयशुदा मेन्यू के हिसाब से भोजन परोस रहे थे। मामले पर संज्ञान लेते हुए रेलवे प्रशासन ने वेंडरों को क्यूआर कोड बेस्ड पहचान पत्र जारी करने की प्रक्रिया शुरू की।
बुधवार को पूर्वोत्तर रेलवे के प्रबंधक आशीष जैन ने बनारस रेलवे स्टेशन पर सेवा दे रहे 38 वेंडरों को क्यूआर कोड बेस पहचान पत्र प्रदान किए। इस आईडी कार्ड को स्कैन करने पर वेंडर की पूरी जानकारी तुरंत मिल जाएगी।
रेलवे बोर्ड ने सभी क्षेत्रीय रेलवे और आईआरसीटीसी को निर्देश दिया है कि स्वीकृत पदों की संख्या के अनुरूप, जांच प्रक्रिया पूरी होने के बाद ही पहचान पत्र जारी किए जाएं। यदि कोई विक्रेता या सहायक नौकरी छोड़ता है, तो संबंधित लाइसेंस धारक को पहचान पत्र वापस करना अनिवार्य होगा।
साथ ही सभी लाइसेंस धारकों, कर्मचारियों, विक्रेताओं और सहायकों का रिकॉर्ड संबंधित स्टेशन के निर्धारित रजिस्टर में दर्ज किया जाएगा। यह व्यवस्था चरणबद्ध तरीके से सभी वेंडरों और दुकानदारों पर लागू की जाएगी, ताकि अवैध वेंडिंग पर पूरी तरह रोक लगाई जा सके।