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वाराणसी

सीएचसी सारनाथ में पहली बार लैप्रोस्कोपिक हर्निया सर्जरी सफल

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सारनाथ (वाराणसी)। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) सारनाथ, वाराणसी में मंगलवार को पहली बार लैप्रोस्कोपिक विधि (दूरबीन विधि) से हर्निया का सफल ऑपरेशन किया गया। यह ऑपरेशन डॉ. राघवेंद्र विक्रम सिंह (लैप्रोस्कोपिक सर्जन) द्वारा किया गया, जबकि एनेस्थीसिया सेवाएँ डॉ. बी.बी. शुक्ला (एनेस्थीसिया विशेषज्ञ) द्वारा प्रदान की गईं।

यह गौरव की बात है कि सीएचसी श्रेणी में सीएचसी सारनाथ पहला स्वास्थ्य केंद्र है, जहाँ नियमित रूप से दूरबीन विधि से लैप्रोस्कोपिक सर्जरी की जा रही है। इससे न केवल सारनाथ बल्कि आसपास के जनपदों के मरीजों को भी उच्च स्तरीय आधुनिक शल्य चिकित्सा सुविधाएँ मिल रही हैं।

सीएचसी सारनाथ में लगभग 7 माह पूर्व लैप्रोस्कोपिक सर्जरी की शुरुआत की गई थी और अब तक 100 से अधिक सफल ऑपरेशन किए जा चुके हैं। इनमें प्रमुख रूप से पित्त की थैली की पथरी (गॉल ब्लैडर स्टोन), अपेंडिक्स, हर्निया, हिस्टेरेक्टॉमी (गर्भाशय ऑपरेशन) जैसी सर्जरी शामिल हैं।

इसके अतिरिक्त सीएचसी सारनाथ में सीजरियन डिलीवरी, ब्रेस्ट गांठ की सर्जरी, हाइड्रोसील, सभी प्रकार के हर्निया, स्तन कैंसर, गुर्दे की पथरी, फिस्टुला, बवासीर सेवाएँ भी उपलब्ध हैं।

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दूरबीन (लैप्रोस्कोपिक) सर्जरी के लाभ—कम चीरा, कम दर्द, कम खून का नुकसान, जल्दी ठीक होना, कम दिनों में अस्पताल से छुट्टी, संक्रमण की संभावना कम तथा काम पर शीघ्र वापसी।

सीएचसी सारनाथ में सभी लैप्रोस्कोपिक ऑपरेशन दूरबीन विधि से किए जा रहे हैं, जिससे आम जनता को जिला एवं निजी अस्पतालों जैसी आधुनिक सुविधाएँ सरकारी स्तर पर उपलब्ध हो रही हैं।

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