वाराणसी
वाराणसी पुलिस के हत्थे चढ़ा दुर्दांत अपराधी, लखनऊ में टीटीई को गोली मारने का आरोप
वाराणसी। कमिश्नरेट पुलिस को मंगलवार को एक बड़ी कामयाबी मिली है। सारनाथ थाना पुलिस ने दुर्दांत अपराधी अजय उर्फ विजय को गिरफ्तार कर लिया। हत्या, लूट और फिरौती सहित 15 से अधिक आपराधिक मामलों में वांछित अजय उर्फ विजय की गिरफ्तारी को पुलिस के लिए अहम उपलब्धि माना जा रहा है। वह यूपी और बिहार पुलिस की लंबे समय से तलाश में था।
पुलिस के अनुसार, अजय उर्फ विजय के खिलाफ लखनऊ, कानपुर, प्रयागराज, वाराणसी, चंदौली, गाजीपुर, जौनपुर के साथ-साथ बिहार में भी कई संगीन आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं। मंगलवार की सुबह उसे सारनाथ क्षेत्र से दबोचा गया।
पुलिस ने बताया कि दो मई 2022 को लखनऊ में शराब पीने के दौरान हुए विवाद में अजय उर्फ विजय ने प्रॉपर्टी डीलर व टीटीई विजयशंकर सिंह को गोली मार दी थी। इस घटना के संबंध में विजयशंकर सिंह ने अजय सिंह सहित छह से अधिक लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था।
आपराधिक इतिहास की बात करें तो 13 सितंबर 2007 को वाराणसी के पांडेयपुर क्षेत्र में सरकारी चिकित्सक डॉ. डी.पी. सिंह की गोली मारकर हत्या किए जाने के मामले में भी अजय उर्फ विजय को आरोपी बनाया गया था। इसके अलावा वर्ष 2012 में गाजीपुर के सैदपुर में सराफा कारोबारी भाइयों को गोली मारकर लाखों रुपये की लूट की घटना को भी उसने अंजाम दिया था।
अप्रैल 2013 में वाराणसी के कैंट थाना पुलिस ने अजय को 9 एमएम पिस्टल के साथ गिरफ्तार किया था, हालांकि कुछ माह बाद वह जमानत पर रिहा हो गया था। सितंबर 2022 में उसने चंदौली की अदालत में गैंगस्टर एक्ट के पुराने मामले में आत्मसमर्पण किया था। उस समय वह एक लाख रुपये का इनामी घोषित था। इसके बाद उसे वाराणसी जिला कारागार भेजा गया, जहां वह निरुद्ध था।
