वाराणसी
पुलिस टीम पर हमले के मामले में आरोपितों को जमानत
वाराणसी। हत्या के एक वांछित आरोपी को पकड़ने गई पुलिस टीम पर हुए हमले और सरकारी कार्य में बाधा डालने के मामले में दो आरोपितों को अदालत से जमानत मिल गई। प्रभारी जिला जज संध्या श्रीवास्तव की अदालत ने सारनाथ निवासी सुशील यादव और चौबेपुर निवासी गौतम यादव को 50-50 हजार रुपये की दो जमानतें एवं बंधपत्र जमा करने की शर्त पर रिहाई का आदेश दिया। अदालत में बचाव पक्ष की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता अनुज यादव, नरेश यादव, यशपाल यादव और संदीप यादव ने पैरवी की।
अभियोजन के मुताबिक, देवरिया के सर्विलांस प्रभारी निरीक्षक सादिक परवेज ने सारनाथ थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई थी। आरोप के अनुसार, देवरिया जिले के कोतवाली क्षेत्र में दर्ज हत्या के एक प्रकरण में वांछित आरोपी की तलाश में वह 7 दिसंबर 2025 को सारनाथ थाने पर मौजूद थे। इसी दौरान उन्हें मुखबिर से सूचना मिली कि आरोपी सुनील यादव अपने सारनाथ स्थित बुद्धा सिटी कॉलोनी स्थित घर पर है और भागने की फिराक में है।
सूचना मिलते ही स्थानीय पुलिस टीम के साथ छापेमारी की गई। पुलिस को देखते ही सुनील यादव भागने लगा और गिर पड़ा, जिसके बाद पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। तभी आरोपी के भाई सुशील यादव, साला गौतम यादव, पत्नी निशा यादव सहित घर की महिलाएं, बच्चे और 5-6 अज्ञात लोगों ने पुलिस टीम पर हमला कर दिया। इस दौरान उपनिरीक्षक अविनाश मौर्य की पिस्टल छीनने की कोशिश करते हुए सरकारी कार्य में बाधा पहुंचाई गई और आरोपी को छुड़ाने का प्रयास किया गया। हमले में उपनिरीक्षक की वर्दी भी फट गई, जिससे इलाके में अफरातफरी का माहौल बन गया।
पुलिस जब सुनील यादव को थाने ले जाने लगी, तो रास्ते में उसे छुड़ाने के लिए सुशील यादव और गौतम यादव ने काले रंग की फॉर्च्यूनर से पीछा कर सरकारी वाहन को रोकने की कोशिश की और आरोपी को भगाने का दोबारा प्रयास किया।
