गाजीपुर
“आजादी की कीमत समझो और जिम्मेदारी से जियो” : धर्मेंद्र मिश्रा

गाजीपुर। आजादी का मूल्य जानना हो तो इतिहास के पन्नों को खोलिए और इसे बचाना हो तो अपने कर्मों में जिम्मेदारी को अपनाइए। इस स्वतंत्रता सप्ताह में हम सभी का संकल्प होना चाहिए कि हम ‘हम बनाम वे’ की सोच छोड़कर “हम सब मिलकर” आज़ादी का पर्व मनाएंगे।
आज हम स्वतंत्र हैं—अपने विचार व्यक्त करने में, अपने सपने चुनने में और अपनी ज़िंदगी को अपनी पसंद के अनुसार जीने में। पर क्या हमने कभी सोचा है कि यह आजादी किन बलिदानों की वजह से मिली है? यह आजादी खून, पसीने और अतुलनीय बलिदानों की कीमत पर हासिल हुई है। इसलिए हम सभी की जिम्मेदारी है कि इस आजादी को सजाएं, सँवारें और आने वाली पीढ़ी तक इसे सुरक्षित पहुंचाएं।
हमारा कर्तव्य है कि हम कानून का पालन करें, ईमानदारी से जीवन व्यतीत करें, भाईचारे को बढ़ावा दें, राष्ट्रहित में अपने हिस्से की जिम्मेदारी निभाएं और लोकतंत्र की रक्षा करें। देश का संविधान ही हमारी प्राण वायु है, हमारे गरिमापूर्ण जीवन का आधार है। इसके होने से ही हमारी पीढ़ियां सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक रूप से सुरक्षित रह सकेंगी।
इसलिए आइए हम अपने मौलिक अधिकारों के साथ-साथ अपने मूल कर्तव्यों को भी निभाएं और जिम्मेदार नागरिक बनें। यदि हम अपनी जिम्मेदारियां भूल गए तो यह आजादी खो भी सकते हैं। देश की आजादी का मतलब सिर्फ खुद के लिए जीना नहीं, बल्कि जिम्मेदारी के साथ जीना है।