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वाराणसी

21 साल पुराने बलवा-मारपीट मामले में पूर्व उपसभापति व पार्षद दोषमुक्त

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वाराणसी। नगर निगम में 21 वर्ष पूर्व हुई मारपीट और बलवा के मामले में अदालत ने बड़ा फैसला सुनाते हुए पूर्व उपसभापति और वर्तमान व पूर्व पार्षदों को दोषमुक्त कर दिया। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट मनीष कुमार की अदालत ने सोनारपुरा निवासी पूर्व उपसभापति शैलेंद्र यादव उर्फ बिल्लू, वर्तमान पार्षद राजेश कुमार यादव उर्फ चल्लू, पूर्व पार्षद ओमप्रकाश सिंह और भरत लाल को आरोप सिद्ध न होने पर संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया। बचाव पक्ष की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता अनुज यादव, बृजपाल सिंह यादव गुड्डू, नरेश यादव और संदीप यादव ने पैरवी की।

मामला वर्ष 2004 का है, जब तत्कालीन नगर आयुक्त लालजी राय ने सिगरा थाने में मुकदमा दर्ज कराया था। आरोप था कि 18 अक्तूबर 2004 को नगर निगम की कार्यकारिणी समिति की बैठक के दौरान कुछ सभासदों और उनके साथियों ने हंगामा किया, गाली-गलौज की और अधिकारियों पर हमला कर दिया। इस दौरान एक अधिकारी को गंभीर चोट भी आई थी और सभागार में तोड़फोड़ की गई थी।

पुलिस विवेचना में पूर्व उपसभापति शैलेंद्र यादव उर्फ बिल्लू, वर्तमान पार्षद राजेश यादव, पूर्व पार्षद मंगल प्रजापति, ओमप्रकाश सिंह, नईम अहमद, भरत लाल, शंभूनाथ बाटुल और मुरारी यादव समेत कई लोगों को आरोपित बनाया गया था। हालांकि, सुनवाई के दौरान पूर्व पार्षद मंगल प्रजापति, शंभूनाथ बाटुल और मुरारी यादव की मृत्यु हो जाने पर उनके खिलाफ कार्यवाही समाप्त कर दी गई।

करीब दो दशक बाद आए इस फैसले में अदालत ने शेष आरोपितों को दोषमुक्त कर दिया, जिससे उन्हें बड़ी राहत मिली।

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